रिपोर्ट : रितेश वाघेला
मुंबई : तेज तर्रार पुलिस आधिकारी वाई. पी. सिंह की बेटी ईशा सिंह भी आइपीएस बन गई है। शुक्रवार को संघ लोक सेवा आयोग की परीक्षा में उन्होंने 191 वा क्रम हासिल किया, बैंगलोर के नेशनल लो स्कूल में ग्रेजुएट करने से पहले ईशा सिंह ने लखनऊ और मुंबई जे बी पेटिंट एंड केथेड्रूल स्कूल से भी पढ़ाई की है, ईशा का सपना भारतीय पोलीस सेवा में जाने का था जो आज पूरा हो चुका है। ईशा सिंह अपने पिता वाई. पी. सिंह जी के नक्शे कदम पर चलना चाहती है।
ईशा सिंह के माता जी आभा सिंह ने उन्हें सफलता की राह दिखाए है, अपनी इस सफलता का श्रेय अपनी माता एड. आभा सिंह को दीया है, ईशा सिंह के मां उन्हें कय रात जाग कर उनकी तैयारी कराते थे, और उनके मार्ग दर्शन बीना एग्जाम पास करना ना मुनकिन था, गौरतलब है कि एड आभा सिंह देश की जानी मानी मानवाधी कार्य करता है, जिन्होंने इंडियन पोस्टल सर्विस की नौकरी छोड़ कर समाज सेवा में उतरने का फैसला किया।
अभी कुछ समय पहले एड ईशा सिंह को उनके वकालत में बड़ी कामयाबी मिली है, जिन्होंने कोर्ट में 1 केस मुफ्त में लड़ कर 3 विधवा महिला को 10 लाख रुपया मुआयना दिलवाया था। इन विधावा के पति 2 साल पहले सेप्टिक टैंक में उतरे थे, और दम घुटने से उनकी मृत्यु हो गई थी, इन विधवा महिला ने सब जगह न्याय की गुहार लगाई पर न्याय नहीं मिल ने पर एड ईशा सिंह ने न्याय का बीड़ा उठा कर इन्हें न्याय दिलवाया।
इस ज़रूरत मंद लोगो की मदद को देख इस महान कार्य के साथ साथ आईपीएस बनने के अवसर पर रूद्र सेवा प्रतिष्ठान के संस्थापक रितेश वाघेला ने एड ईशा सिंह को बधाई दी ।
साथ साथ समाज में जुड़ कर सामाजिक कार्य क्रम सेवा के लिए मार्ग दर्शन लिया। ईशा सिंह जी ने अपने इस सामाजिक कार्य के लिए अपनी मा एड आभा सिंह जी को विशेश श्रेय दिया है।