मुंबई/हैदराबाद : G20 इंडिया प्रेसीडेंसी के तहत ग्लोबल पार्टनरशिप फॉर फाइनेंशियल इनक्लूजन (GPFI) की दूसरी बैठक 6 और 7 मार्च को हैदराबाद में संपन्न हुई। बैठक में डिजिटल भुगतान प्रणालियों में नवाचारों का उपयोग करने और समावेशी विकास के लिए भुगतान DPI को डिजाइन करने में हितधारकों की भूमिका पर विचार-विमर्श किया गया। साथ ही वित्तीय समावेशन और उत्पादकता लाभ के लिए डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचे का लाभ उठाने को लेकर भी चर्चा हुई।
पैनल चर्चा के दौरान Better Than Cash Alliance की एमडी डॉ. रूथ गुडविन ग्रोएन ने नवीन भुगतान प्रणालियों के विकास पर अपनी प्रस्तुति दी। इसके बाद “डिजिटल भुगतान और प्रेषण पर संगोष्ठी” पर पैनल चर्चा का समापन हुआ। दो दिनों तक चलने वाली जीपीएफआई की बैठक के दौरान डिजिटल वित्तीय समावेशन, एसएमई वित्त और वित्तीय समावेशन कार्य योजना 2023 के विकास सहित वर्ष के लिए महत्वपूर्ण डिलिवरेबल्स पर चर्चा होगी। यह कार्य योजना 2024 के लिए वित्तीय समावेशन कार्य का मार्गदर्शन करेगी। इस बैठक में बांग्लादेश, भूटान, मिस्र, इथियोपिया, घाना, जॉर्डन, मलावी, मालदीव, नेपाल, ओमान, फिलीपींस, पोलैंड, सेनेगल, सिएरा लियोन, श्रीलंका, थाईलैंड, वियतनाम सहित विभिन्न देशों के प्रतिनिधि हिस्सा ले रहे हैं। G20 फाइनेंस ट्रैक का GPFI वर्किंग ग्रुप सभी G20 देशों, गैर-G20 देशों और संबंधित हितधारकों के लिए दुनिया भर में वित्तीय समावेशन में सुधार के लिए एक व्यापक मंच तैयार किया गया है।
इस बैठक से पहले हैदराबाद में इंडिया एंड द ग्लोबल साउथ ”ए विजन फॉर ए शेयर्ड फ्यूचर’ नाम से इवेंट के उद्घाटन सत्र की शुरुआत हुई थी। पहली जीपीएफआई बैठक 9-11 जनवरी को कोलकाता में आयोजित की गई थी, जहां सदस्यों ने वर्ष के लिए कार्य कार्यक्रम और प्राथमिकताओं पर चर्चा की और सहमति व्यक्त की थी।